जेल भेजने की धमकी देकर CGST अफसरों मांगी रिश्वत, 2.35 करोड़ रुपये वसूले

By :  SaumyaV
Update: 2024-01-21 06:25 GMT

उद्यमी अरुण कुमार सोम ने सीजीएसटी के गुरुग्राम स्थित डीजीजीआई ऑफिस के पांच अधिकारियों के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई है। आरोप है कि अधिकारियों ने जेल भेजने की धमकी देकर उनसे 2.35 करोड़ रुपये की रिश्वत ली। 

बुलंदशहर रोड औद्योगिक क्षेत्र के निवासी उद्यमी अरुण कुमार सोम ने सीजीएसटी के गुरुग्राम स्थित डीजीजीआई ऑफिस के पांच अधिकारियों के खिलाफ कविनगर थाने में नामजद रिपोर्ट दर्ज कराई गई है। उनका आरोप है कि उनकी फैक्टरी पर डाले गए छापे के मामले को रफा-दफा करने के नाम पर उनसे पांच करोड़ रुपये की रिश्वत मांगी गई। इसके बाद उन्हें जेल भिजवाने की धमकी देकर उनसे 2.35 करोड़ वसूले गए। 

कोर्ट के आदेश पर भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के तहत दर्ज की गई एफआईआर में सीजीएसटी के पांच इंस्पेक्टर सार्थक दहिया, अमित कुमार, मनीष दलाल, गिरीश शर्मा और जितेंद्र कुमार को नामजद कराया गया है। अरुण सोम ने बताया है कि बुलंदशहर रोड औद्योगिक क्षेत्र स्थित उनकी फैक्टरी एकेएस इलेक्ट्रीकल्स एंड इलेक्ट्रोनिक्स प्राइवेट लिमिटेड में पांच जुलाई 2022 को डायरेक्टरेट जनरल ऑफ गुड्स एंड सर्विस टैक्स इंटेलिजेंस (डीजीजीआई) के अधिकारियों ने कर चोरी के आरोप में छापा मारा था। कंपनी के निदेशक प्रेम सिंह को गिरफ्तार कर लिया, उन्हें जेल भेजा गया।

अरुण का आरोप है कि इसके बाद जांच अधिकारी सार्थक दहिया पांच करोड़ की मांग की। उन्होंने इतनी रकम नहीं दे पाने की बात कही तो थोड़े-थोड़े करके रुपये देने के लिए कहा। चार बार में उनसे 2.25 करोड़ ले लिए। उनका स्थानांतरण होने के बाद जब दूसरे जांच अधिकारी जितेंद्र कुमार आए तो वह भी उन्हें धमकी देने लगे।

'एक करोड़ दो, अकेले नहीं खा रहा, ऊपर तक बंटेगा'

एफआईआर में उद्यमी अरुण कुमार सोम ने बताया है कि उनके मामले के जांच अधिकारी सार्थक दहिया ने दफ्तर बुलाकर उनसे कहा, 'हम तुम्हारे कागज तभी दाखिल करेंगे, जब पैसे (रिश्वत की रकम) तय कर लोगे, वरना न तो प्रेम सिंह की जमानत होने देंगे और न ही तुम्हारी फैक्टरी चलने देंगे। तुम्हारी फाइल को ऐसा उधेड़ देंगे कि सारी जिंदगी जेल में सड़के रहोगे।' अरुण का कहना है कि उन्होंने दहिया से कहा कि अगर उन्हें ही जेल भेज दोगे तो पैसे कहां से आएंगे। वह पांच करोड़ रुपये देने में असमर्थ हैं। इस पर दहिया ने कहा, 'तुम एक करोड़ दे दो, यह रुपये मैं अकेला नहीं खा रहा, ऊपर तक सभी अधिकारियों में बांटा जाएगा।'

अरुण का दावा है कि यह रिश्वत पटियाला हाउस कोर्ट परिसर में मांगी गई। इसके सीसीटीवी फुटेज मौजूद हैं। अरुण ने बताया कि एक करोड़ लेने के बाद दहिया की भूख और बढ़ गई। उसकी फिर से डिमांड आने लगी। उसने चार अगस्त 2022 को कॉल करके कहा, 'आज हर हाल में एक करोड़ लेकर आ जाओ, नहीं तो आज रात ही तुम्हें घर से उठवाकर जेल में बंद कर दूंगा। पैसा लेकर डीजीजीआई दफ्तर गुरुग्राम आना है।'

'तू मुझे जानता नहीं, तेरा जीवन बर्बाद कर दूंगा'

अरुण कुमार सोम ने एफआईआर में दूसरे जांच अधिकारी जितेंद्र कुमार पर भी गंभीर आरोप लगाए हैं। उनका कहना है कि दहिया के तबादले के बाद जितेंद्र कुमार का फोन आया। उसने कहा, 'अब मैं जांच अधिकारी नियुक्त हो गया हूं, 50 लाख रुपये तुरंत भेजो।' अरुण ने बताया कि उन्होंने जितेंद्र से कहा कि वह काफी पैसा दहिया को दे चुके हैं। इस पर जवाब मिला, 'उस पैसे को भूल जाओ। दहिया का तबादला अहमदाबाद हो गया है। अब जो कुछ करना है, मुझे करना है।' आरोप है कि उसने 50 लाख रुपये मांगे। अरुण का कहना है कि उसे 10 लाख दे दिए। इसके बाद 40 लाख के लिए धमकी देने लगा। कहा, 'तू मुझे जानता नहीं, मैं तेरा जीवन बर्बाद कर दूंगा।' इसके बाद लगातार धमकी भरे फोन आते रहे।

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