गाजियाबाद में मक्का से एथेनॉल बनाने की तैयारी, किसानों की बदलेगी किस्मत

Update: 2024-08-13 07:52 GMT

सोनू सिंह

गाजियाबाद। प्रदेश की अन्य चीनी मिलों के साथ ही गाजियाबाद में अब मक्का से एथेनॉल बनाने की तैयारी चल रही है। इसके लिए गाजियाबाद में भी गन्ने के साथ मक्का का रकबा बढ़ाया जाएगा।

जिला आबकारी अधिकारी संजय कुमार ने बताया कि अभी 15 कंपनियां एथेनॉल बना रही हैं। ऐसे में अब गन्ने के बजाय मक्के से एथेनॉल तैयार करने की तैयारी है। इसके लिए कृषि विभाग मिलकर काम करेगा। जिला कृषि अधिकारी गाजियाबाद अमित कुमार ने बताया कि मिल क्षेत्र में मक्के का रकबा चिह्नित किया जाएगा। इसके लिए गाजियाबाद में लक्ष्य रखा गया है मक्का विकास से जुड़े उपकरणों को अनुदान पर उपलब्ध कराया जाएगा। अभी एथेनॉल का उत्पादन गन्ना, धान और मक्के से होता है। गन्ना और धान में पानी की अधिक जरूरत होती है। ऐसे में मक्का को एथेनॉल के लिए अधिक उपयुक्त माना गया है। यह खरीफ, जायद और रबी सीजन में उगाई जाती है। यही कारण है कि सरकार ने त्वरित मक्का विकास योजना शुरू की है। इसके लिए 2024-25 में 27.68 करोड़ रुपए का प्रावधान किया है।

जिला कृषि अधिकारी गाजियाबाद ने कहा कि गाजियाबाद में गन्ना और धान के रकबे में कटौती करके मक्का की खेती मक्का का रकबा बढ़ान लिए किसानों को प्रोत्साहित किया जाएगा। जिले में धान की खेती का रकबा करीब 24 हजार हेक्टेयर है, जिसमें प्रति हेक्टेयर 25.27 कुंतल धान की पैदावार होती है। गन्ने के रकबे की बात करें तो यहां पर 60 हजार हेक्टेयर क्षेत्र में गन्ना की खेती होती है। गन्ने का उत्पादन 21 लाख मीट्रिक टन प्रति हेक्टेयर होता है। गन्ना और धान का रकबा घटाकर मक्का का रकबा बढ़ने पर काम किया जाएगा।

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