प्रशांत किशोर ने कहा- मैं जेल में रहना पसंद करूंगा लेकिन इस बात को नहीं मानूंगा... जानें कौन सी बात ?

Update: 2025-01-06 11:40 GMT

पटना। जन सुराज पार्टी के नेता प्रशांत किशोर को पटना पुलिस ने सोमवार सुबह गांधी मैदान से हिरासत में ले लिया। वे बिहार लोक सेवा आयोग की 70वीं प्रारंभिक परीक्षा रद्द करने की मांग को लेकर आमरण अनशन पर बैठे थे। जमानत मिलने के बाद प्रशांत किशोर का बयान सामने आया है, जिसमें वे पुलिस के व्यवहार के बारे में बताते हुए नजर आ रहे हैं।

जन सुराज प्रमुख प्रशांत किशोर ने कहा, "...पुलिस मुझे गांधी मैदान से AIIMS लेकर गई। वहां तक पुलिस का व्यवहार मेरे साथ एकदम ठीक था। सुबह 5 बजे से 11 बजे तक पुलिस मुझे एंबुलेंस में बिठाकर अलग-अलग जगहों पर घुमाती रही और किसी ने नहीं बताया कि मुझे कहां लेकर जा रहे हैं। 5 घंटे के बाद मुझे पुलिस फतुहा के समुदायिक केंद्र में लेकर गई। वहां पर डॉक्टरों से वे मेरा परीक्षण कराकर सर्टिफिकेट लेना चाहते थे। मैंने डॉक्टरों को बताया कि मैं इसके लिए इजाजत नहीं दे रहा हूं। मैं कोई गैरकानूनी काम नहीं कर रहा था...पुलिस ने कोशिश की वहां के डॉक्टर इनको सर्टिफिकेट दे दें लेकिन वहां के डॉक्टरों का मैं धन्यवाद देता हूं कि उन्होंने गैरकानूनी सर्टिफिकेट देने से इनकार कर दिया... उसके बाद मुझे कोर्ट में लाया गया, कोर्ट से मुझे बेल मिली है लेकिन उस बेल में लिखा है कि मैं फिर से ऐसा नहीं करूंगा... मैंने बेल को अस्वीकार कर दिया है मैंने जेल जाना स्वीकार किया है।

जन सुराज पार्टी प्रमुख प्रशांत किशोर के वकील वाई.वी. गिरि ने बताया, "कोर्ट ने 25,000 के मुचलके पर बेल दी थी। कुछ शर्तें भी लगाई हैं कि इस प्रकार का अपराध दोबारा नहीं करेंगे। दोबारा अनशन पर नहीं बैठेंगे। प्रशांत किशोर ने कहा है कि मैं जेल में रहना पसंद करूंगा लेकिन इस बात को नहीं मानूंगा। उन्होंने कहा है कि मैं जेल में भी अनशन करूंगा। वे जेल जाने को तैयार हो गए हैं।"

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