सुप्रीम कोर्ट ने दिया फैसला! यौन उत्पीड़न के मामले को समझौते के जरिए रद्द नहीं किया जा सकता
नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने आज यानी गुरुवार को एक अहम फैसला सुनाया है। कोर्ट ने राजस्थान हाईकोर्ट के उस आदेश को रद्द कर दिया, जिसमें नाबालिग छात्रा का यौन उत्पीड़न करने के आरोपी शिक्षक को राहत दी गई थी और उसके खिलाफ मुकदमा रद्द करने का आदेश दिया गया था। कोर्ट ने कहा कि यौन उत्पीड़न के मामले को समझौते के जरिए रद्द नहीं किया जा सकता है।
बता दें 15 वर्षीय लड़की के उत्पीड़न के मामले में अपील की गई थी। इसमें पिता की शिकायत के आधार पर प्राथमिकी दर्ज की गई थी। मगर बाद में लड़की के परिवार और आरोपी के बीच समझौता हो गया था। जिसके आधार पर आरोपी ने मामले को रद्द करने के लिए राजस्थान उच्च न्यायालय का रुख किया था। वहां पर कोर्ट ने याचिका स्वीकार करके आपराधिक मामले को रद्द कर दिया था।
इसका फैसला जस्टिस सीटी रविकुमार और पीवी संजय कुमार की पीठ ने सुनाया है। कोर्ट ने कहा कि हाईकोर्ट के फैसले को निरस्त किया जाता है। अब एफआईआर और आपराधिक कार्यवाही कानून के आधार पर केस को आगे बढ़ाई जाए।