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उत्तर प्रदेश

Pollution In Meerut: AQI पहुंचा 358, उत्तर पश्चिमी हवाओं का रुकेगा प्रवाह, और दूषित होगी हवा, मास्क लगाएं

Abhay updhyay
8 Nov 2023 12:25 PM IST
Pollution In Meerut: AQI पहुंचा 358, उत्तर पश्चिमी हवाओं का रुकेगा प्रवाह, और दूषित होगी हवा, मास्क लगाएं
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पहाड़ों पर मंगलवार से पश्चिमी विक्षोभ सक्रिय हो गया है, जिसका असर 10 नवंबर तक रहेगा। इस दौरान मैदानी इलाकों में उत्तर-पश्चिमी हवाओं का प्रवाह रुक जाएगा और प्रदूषण में बढ़ोतरी होगी। दीपावली के पर्व से ठीक पहले मौसम में यह बदलाव प्रदूषण में तेजी से बढ़ोतरी कर सकता है। यानि, शहर को अभी ओर प्रदूषण की मार झेलनी पड़ेगी। पहले से ही शहर का वायु गुणवत्ता सूचकांक 350 के पार चल रहा है। सुबह व शाम में शहर स्मॉग से ढका रहता है।

जैसे-जैसे प्रदूषण बढ़ता जा रहा है वातावरण में धुंध के असर बढ़ता जा रहा है। शांत हवा और प्रदूषकों के एक ही स्थान पर ठहरने से मेरठ में धूल, धुएं का गुबार बढ़ता जा रहा है। मेरठ में प्रदूषण का स्तर लाल श्रेणी में 358 तक पहुंच गया है, लेकिन अभी इसमें राहत की उम्मीद नहीं है।

मंगलवार से पहाड़ों पर सक्रिय हुए पश्चिमी विक्षोभ के चलते मैदानी इलाकों में हवा का प्रवाह रुक जायेगा, जिस कारण प्रदूषण का स्तर बढ़ेगा। साथ ही स्मॉग की चादर से भी कोई राहत के आसार नहीं है। बारिश के बाद ही प्रदूषण से राहत मिलने के आसार है। हालांकि, अभी बारिश होने के कोई आसार नहीं बन रहे है, जिस कारण शहरवासियों को वायु प्रदूषण से जूझना पड़ेगा।

सरदार वल्लभ भाई पटेल कृषि विवि के मौसम वैज्ञानिक डॉ. यूपी शाही ने बताया कि अभी प्रदूषण का स्तर बढ़ेगा। राहत के फिलहाल कोई आसार नहीं है। मंगलवार को मेरठ में प्रदूषण 358, बागपत में 295, मुजफ्फरनगर में 223, गाजियाबाद में 347 एयर क्वालिटी इंडेक्स दर्ज किया गया। जबकि, मेरठ के जयभीमनगर में सबसे अधिक 376, पल्लवपुरम में 375 और गंगानगर में 323 एयर क्वालिटी इंडेक्स दर्ज किया गया।

समय से लें दवा, धुंध से बचने की जरुरत

वायु प्रदूषण में लगातार हो रही बढ़ोतरी के कारण सांस लेने में तकलीफ, आंखों में जलन की समस्या बढ़ रही है। डॉ. दिव्यांशु सेंगर ने बताया कि सांस के मरीजों को समय से दवा लेने और धुंध से बचने की आवश्यकता है। तेजी से बढ़ रहे वायु गुणवत्ता सूचकांक के कारण स्माॅग की चादर वातावरण में छाने लगी है और सांस, छाती के मरीजों को सतर्क रहने की जरुरत है। इस मौसम में सांस के मरीजों की समस्या बढ़ जाती है। अस्थमा साइनसाइटिस और सांस के रोगियों के अलावा छोटे बच्चों, गर्भवती महिलाओं और बुजुर्ग भी इसका शिकार होते हैं।


शताब्दीनगर के सेक्टर एक में जलाया जा रहा कूड़ा

शताब्दीनगर के सेक्टर एक में लगातार कूड़ा फेंका जा रहा है। दिन ढलते ही अज्ञात लोग कूड़े के ढेर में आग लगा देते हैं, जिस कारण कॉलोनी में धुआं फैलने से प्रदूषण के बढ़ने से लोगों को समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है। इसको लेकर लगातार शिकायत की जा रही है, लेकिन ना तो नगर निगम ओर ना ही मेडा इस पर ध्यान दे रहा है। जिस कारण स्थानीय लोगों में रोष है।

30 से नीचे आया दिन का तापमान, रात का पारा भी गिरा

नवंबर के दूसरे सप्ताह में ठंड का प्रकोप बढ़ने के आसार दिख रहे है। मंगलवार को दिन व रात के तापमान में गिरावट दर्ज की गई, जिस कारण शहरवासियों को दोपहर में भी ठंड का अहसास हुआ। धूप का असर फीका रहा। दिन का तापमान लुढ़कर 30 डिग्री से नीचे पहुंचकर 28.3 डिग्री सेल्सियस व न्यूनतम तापमान 12.5 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया। अभी तापमान में ओर गिरावट के आसार बने हुए है, जिससे ठंड का प्रकोप ओर बढ़ेगा।


डीएम अंकल, सांस लेना मुश्किल हो रहा है छुट्टी कर दो

कई दिनों से दिल्ली एनसीआर में प्रदूषण का स्तर बहुत अधिक है। प्रदूषण के खतरनाक स्तर को देखते हुए, दिल्ली, नोएडा और गाजियाबाद में स्कूलों में अवकाश की घोषण कर दी गई है। मेरठ शहर में भी प्रदूषण का स्तर गया है, जिससे बच्चों को सांस लेने में तकलीफ हो रही है। छात्रोें ने सोशल मीडिया पर स्कूल की छुट्टी को लेकर वीडियो पोस्ट किए हैं। जिसमें डीएम से आग्रह किया गया है कि वायु प्रदूषण का स्तर कम होने तक स्कूलों में अवकाश की घोषणा की जाए।

बच्चों को मॉस्क लगाकर स्कूल भेजने की अपील

बढ़ते प्रदूषण को लेकर स्कूल भी सतर्क हो गए हैं। कई स्कूलों ने अभिवावकों को एसएमएस भेजकर बच्चों को मॉस्क से साथ स्कूल भेजने को कहा है। दीवान स्कूल में बच्चों को मॉस्क के इस्तेमाल के लिए कहा गया है।

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