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विधानमंडल सत्र में गैरहाजिर रहे तेजस्वी यादव एक हफ्ते बाद लौटे, कहा- आरक्षण को लेकर सड़क से कोर्ट तक जाएगा राजद
पटना। 22 से 26 जुलाई तक बिहार विधानमंडल का सत्र चला। इस पांच दिवसीय सत्र में बिहार के पूर्व उपमुख्यमंत्री व राजद नेता तेजस्वी यादव गैरहाजिर रहे। अब तेजस्वी यादव पूरे एक हफ्ते बाद मीडिया के सामने आए और उसी बात से शुरुआत की, जिसपर विपक्ष ने विधानसभा को लंबे समय तक बाधित रखा। तेजस्वी यादव ने कहा कि अब राजद आरक्षण को लेकर सड़क से कोर्ट तक जाएगा।
तेजस्वी यादव ने कहा कि हम शुरू से कहते थे कि भाजपा जातीय जनगणना के खिलाफ है। यह मामला हाई कोर्ट में गया और हाई कोर्ट ने रोका, अब यह मामला सुप्रीम कोर्ट में है। हमने पहले कहा था कि अगर इसे अनुसूची 9 में नहीं डाला जाएगा तो हम धरना देंगे। केंद्र-बिहार में NDA की सरकार है और वे नहीं चाहते हैं कि जो आरक्षण की सीमा बढ़ाई गई है उसे अनुसूची -9 में डाले। हम सुप्रीम कोर्ट के जवाब का इंतज़ार कर रहे थे और सुप्रीम कोर्ट में केंद्र सरकार अपने जवाब में झूठ बोल रही है। अनुसूची -9 में डालने का अधिकार सिर्फ केंद्र सरकार के पास है। इनकी नियत नहीं है कि इसे शेड्यूल-9 में किया जाए।
तेजस्वी यादव ने कहा कि नीतीश कुमार इतनी सीट लाने के बावजूद फ्लॉप हो चुके हैं। बिहार को विशेष राज्य का दर्जा दिलाने के लिए क्या-क्या नहीं किया गया था। अब एनडीए सरकार खुद कह रही है कि हमलोग विशेष राज्य का दर्जा नहीं देंगे। अनुसूची 9 पर भी भारत सरकार तैयार नहीं हो रही है। जदयू की बात ही भाजपा वाले नहीं सुन रहे हैं न विशेष राज्य का दर्जा मिला और न ही आरक्षण। आरक्षण की लड़ाई को लेकर हमलोग सड़क पर आंदोलन तो करेंगे ही और कोर्ट में अपना पक्ष रखेंगे। अगले सोमवार तक हमलोग अपना पक्ष सुप्रीम कोर्ट में रखेंगे।