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ममता सरकार का अपराजिता बिल पास, भाजपा ने कहा- हम नतीजे चाहते हैं, जानें पूरा मामला
कोलकाता। कोलकाता के सरकारी आरजी अस्पताल में महिला चिकित्सक के साथ दुष्कर्म व हत्या की घटना के मद्देनजर बंगाल विधानसभा ने दुष्कर्म के मामलों में दोषियों को त्वरित व सख्त सजा देने से संबंधित एक संशोधित विधेयक मंगलवार को सर्वसम्मति से पारित किया।
पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने विधानसभा में एंटी रेप बिल पर कहा कि यह अपराजिता बिल BNS बिल से कहीं ज्यादा कठोर है, ये बिल ऐतिहासिक है। जब आरजी कर की घटना हुई उस वक्त मैं इंस्टाग्राम पर एक्टिव थी। मैंने 12 अगस्त को पीड़ित परिवार से बात की थी, मैंने उन्हें न्याय मिलने का आश्वासन दिया था। हमने केस फास्ट ट्रैक करने की कोशिश की थी लेकिन कोर्ट ने ये केस सीबीआई को सौंप दिया। अब हमें सीबीआई से न्याय चाहिए। हम रेप के दोषियों के लिए मौत की सजा चाहते हैं, विपक्ष के नेता हमें संशोधन के लिए कह रहे हैं लेकिन मैं कहना चाहती हूं कि राज्यपाल इस बिल पर साइन करें।
वहीं इस दौरान बंगाल विधानसभा में विपक्ष के नेता शुभेंदु अधिकारी ने एंटी रेप बिल को लेकर कहा कि टीएमसी जल्दबाजी में ये बिल लेकर आई है लेकिन हम चाहते हैं कि इस बिल को जल्द से जल्द लागू किया जाए। हम नतीजे चाहते हैं, हमें इसका पूरा समर्थन है। मुझे नहीं पता कि इस बिल को पेश करने से पहले प्रक्रिया का पालन किया गया या नहीं। मैं इस पर सवाल उठाना नहीं चाहता, हम बस इस बिल को लागू करने की गांरटी चाहते हैं। इस बिल में कुछ नया नहीं है। बता दें बीजेपी इस बिल में कुछ संशोधन चाहती है लेकिन ममता सरकार इस बिल को मौजूदा स्वरूप में ही पारित कराना चाहती है।
बंगाल विधानसभा में पेश एंटी रेप बिल पर चर्चा के दौरान मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने कहा कि केंद्र सरकार ने खुद कहा है कि कोलकाता देश का सबसे सुरक्षित शहर है। इस बीच बीजेपी आरजी कर के लिए न्याय की मांग कर रहे थे। इस पर ममता बनर्जी ने नारेबाजी कर रहे बीजेपी के विधायकों से कहा कि पहले आप मोदी को इस्तीफा देने को कहो। कई घंटों की चर्चा के बाद इस बिल को पारित कर दिया गया। इस बिल का आधिकारिक नाम अपराजिता महिला एवं बाल (पश्चिम बंगाल आपराधिक कानून संशोधन) 2024 है।