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गेहूं की फसल पकने से गाजियाबाद और नोएडा गंगाजल को तरसा
गाजियाबाद। गाजियाबाद के ट्रांस हिंडन इलाका और नोएडा में कल शाम से गंगाजल नहीं आ रहा है। इन इलाकों में गंगाजल की आपूर्ति कब शुरू होगी, इसकी कोई तय तारीख नहीं है। गंग नहर से गंगाजल प्लांट में पानी नहीं पहुंच पा रहा है। इसके पीछे गेहूं की फसल पक जाना है।
अब आपको बताएं कि गेहूं की फसल का आवासीय इलाकों में होने वाली गंगाजल आपूर्ति से क्या लेना देना है। दरअसल हरिद्वार से मुरादनगर के बीच गंग नहर है। हरिद्वार से ही गंग नहर में गंगाजल छोड़ा जाता है। इस नहर को बनाने का मुख्य उद्देश्य किसानों की खेती की सिंचाई है। ऐसे में सिंचाई विभाग की जिम्मेदारी नहर से किसानों को पानी देने तक सीमित है, उन्हें आवासीय इलाकों में गंगाजल आपूर्ति से कोई लेना-देना नहीं है।
सिंचाई विभाग हरिद्वार के एक अधिकारी ने बताया कि इन दिनों गेहूं की फसल पक गई है, इन्हें पानी की जरूरत नहीं है। वहीं कोई फसल की बुवाई भी नहीं हो रही है जिस कारण किसानों को पानी दिया जाए। ऐसे में बुधवार रात से गंग नहर में पानी की आपूर्ति घटा दी गई है। जहां रोजाना हरिद्वार से 11000 क्यूसेक पानी छोड़ा जाता था वहीं अब सिर्फ 4000 क्यूसेक पानी छोड़ा जा रहा है। यह 4000 क्यूसेक पानी सिद्धार्थ विहार स्थित गंगाजल प्लांट में नहीं पहुंच पा रहा है।
गंगाजल प्लांट के अधिकारी उन्मेष शुक्ला ने बताया कि बहुत कम मात्रा में गंगाजल मिल रहा है जिससे पर्याप्त आपूर्ति संभव नहीं हो पा रही है। उन्होंने बताया कि प्लांट में पर्याप्त आपूर्ति से ही नगर निगम, जीडीए और नोएडा को गंगाजल दे पाएंगे। नहर से कब पर्याप्त गंगाजल मिल पाएगा, इस बारे में कुछ कहा नहीं जा सकता है। उम्मीद की जा सकती है कि दो-तीन दिनों में इस समस्या का हल निकल आए। फिलहाल नगर निगम, जीडीए और नोएडा अथॉरिटी अपने संसाधनों से एक समय पानी देने का दवा कर रही है लेकिन लोगों का कहना है कि जहां दो टाइम सुबह और शाम दो-दो घंटे के लिए गंगाजल मिलता था वही अब सुबह के समय 15:20 मिनट के लिए पानी आता है। कई इलाकों में तो दूषित पानी आने की शिकायत मिली है