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अमृत भारत स्टेशन: पीएम मोदी ने लॉन्च की अमृत भारत स्टेशन योजना, देश के 508 स्टेशनों का होगा नवीनीकरण
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वीडियो कॉन्फ्रेंस के जरिए अमृत भारत स्टेशन योजना का शुभारंभ किया। उन्होंने अमृत भारत स्टेशन योजना के तहत भारत भर में 508 रेलवे स्टेशनों के पुनर्विकास की आधारशिला रखी। इस मौके पर पीएम ने कहा कि विकास के लक्ष्य की ओर आगे बढ़ रहा भारत अपने अमृत काल के आरंभ में है. नयी ऊर्जा है, प्रेरणा है, संकल्प है. भारतीय रेलवे के इतिहास में एक नया अध्याय भी शुरू हो रहा है। भारत के लगभग 1300 प्रमुख रेलवे स्टेशनों को अब अमृत भारत रेलवे स्टेशनों के रूप में विकसित किया जाएगा और उनका आधुनिकता के साथ पुनर्विकास किया जाएगा।
उन्होंने कहा कि इससे देश के सभी राज्यों को लाभ होगा। उत्तर प्रदेश में करीब 4500 करोड़ रुपये की लागत से 55 अमृत स्टेशन विकसित किये जायेंगे. राजस्थान के 55 रेलवे स्टेशन भी अमृत रेलवे स्टेशन बनेंगे। उन्होंने रेल मंत्रालय की सराहना करते हुए देशवासियों को बधाई दी। उन्होंने कहा कि रेलवे में जितना काम हुआ है, उससे हर किसी को खुशी भी होती है और आश्चर्य भी होता है. इन 9 वर्षों में हमारे देश में दुनिया के दक्षिण अफ्रीका, यूक्रेन, पोलैंड, ब्रिटेन और स्वीडन जैसे देशों से ज्यादा रेल पटरियाँ बिछाई गईं। पिछले साल ही भारत में दक्षिण कोरिया, न्यूज़ीलैंड और ऑस्ट्रेलिया जैसे देशों से ज़्यादा रेल ट्रैक बनाए गए हैं.
बता दें, देशभर के 508 स्टेशनों के नवीनीकरण की इस योजना के लिए स्टेशनों पर कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे. इसमें केंद्रीय मंत्री, सांसद और क्षेत्र के विधायक उपस्थित रहेंगे. रेलवे अधिकारी नए भारत के सपने को साकार करने के लिए केंद्र सरकार की प्रतिबद्धता दोहराएंगे। इन स्टेशनों पर इस भव्य कार्यक्रम का सीधा प्रसारण किया जाएगा. जिस तरह से लोग प्रधानमंत्री के मन की बात सुनते हैं, उसी तरह स्टेशन पर बड़ी स्क्रीन लगने से लोग रेलवे की पूरी योजना से अवगत हो सकेंगे.
उत्तर रेलवे के महाप्रबंधक शोभन चौधरी के अनुसार, यह दुनिया के सबसे बड़े और व्यस्ततम रेलवे नेटवर्कों में से एक है, जो लाखों लोगों के लिए परिवहन का एक महत्वपूर्ण साधन प्रदान करता है, देश के हजारों शहरों और कस्बों को जोड़ता है। भारतीय रेलवे के आधुनिकीकरण की प्रक्रिया पिछले नौ साल से चल रही है. इसके तहत बुनियादी ढांचे, तकनीक और यात्री सुविधाओं को बेहतर बनाने की कोशिश की जा रही है. इस महत्वाकांक्षी योजना में रेलवे स्टेशनों का नवीनीकरण, नई रेलवे लाइनें बिछाना, 100 प्रतिशत विद्युतीकरण और यात्रियों और संपत्तियों की सुरक्षा बढ़ाने जैसी कई गतिविधियां शामिल हैं।
प्रधानमंत्री 508 स्टेशनों के पुनर्विकास कार्यों की शुरुआत के साथ पूरे भारत में 'अमृत भारत स्टेशन योजना' का उद्घाटन करेंगे, जिनमें से 71 रेलवे स्टेशन उत्तर रेलवे क्षेत्र में हैं। इसे देखते हुए रेलवे दिल्ली कैंट, दिल्ली सब्जी मंडी और नरेला में कार्यक्रम आयोजित करेगा।
योजना का उद्देश्य
स्टेशनों का सिटी सेंटरों के रूप में विकास
शहर के दोनों छोरों का एकीकरण
स्टेशन भवनों का सुधार व पुनर्विकास
आधुनिक यात्री सुविधाओं का प्रावधान
बेहतर यातायात व्यवस्था और इंटरमोडल इंटीग्रेशन
मार्गदर्शन के लिए एक-समान और सहायक सूचक चिन्ह
मास्टर प्लान में उचित संपत्ति विकास का प्रावधान
लैंडस्केपिंग, स्थानीय कला और संस्कृति
प्रोजेक्ट पर 24470 करोड़ रुपये की लागत आएगी
प्रधानमंत्री कार्यालय (पीएमओ) ने एक बयान में कहा कि पुनर्विकास परियोजना की लागत 24,470 करोड़ रुपए होगी और यह यात्रियों को आधुनिक सुविधाएं प्रदान करेगी। प्रधानमंत्री जिन रेलवे स्टेशनों के पुनर्विकास की आधारशिला रखेंगे, उनमें उत्तर प्रदेश और राजस्थान के 55-55, बिहार के 49, महाराष्ट्र के 44, पश्चिम बंगाल के 37, मध्य प्रदेश के 34, असम के 32, ओडिशा के 25 स्टेशन शामिल हैं। पंजाब में 22, गुजरात और तेलंगाना में 21-21, झारखंड में 20, आंध्र प्रदेश और तमिलनाडु में 18-18, हरियाणा में 15 और कर्नाटक में 13 सीटें हैं।
विश्व स्तरीय सुविधाओं को प्राथमिकता दे रहे हैं
पीएमओ ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अक्सर अत्याधुनिक सार्वजनिक परिवहन की व्यवस्था पर जोर देते हैं और रेलवे लोगों के परिवहन का पसंदीदा साधन है। उन्होंने रेलवे स्टेशनों पर विश्वस्तरीय सुविधाएं मुहैया कराने को प्राथमिकता दी है. इसी दृष्टिकोण के साथ, 1,309 स्टेशनों के पुनर्विकास के लिए 'अमृत भारत स्टेशन योजना' शुरू की गई थी। योजना के तहत पीएम मोदी 508 स्टेशनों के पुनर्विकास का शिलान्यास करेंगे.
सिटी सेंटर के तौर पर विकसित किया जाएगा
पीएमओ ने कहा कि इसके तहत शहर के दोनों किनारों के समुचित एकीकरण के साथ इन स्टेशनों को 'सिटी सेंटर' के रूप में विकसित करने के लिए मास्टर प्लान तैयार किया जा रहा है। यह एकीकृत दृष्टिकोण रेलवे स्टेशन के आसपास केंद्रित, समग्र शहरी विकास के लिए शहर के समग्र दृष्टिकोण से प्रेरित है।