सिख दंगा मामले में कांग्रेस नेता सज्जन कुमार बरी, 3 लोगों की हत्या का आरोप था

Update: 2023-09-20 12:18 GMT

सिख दंगा मामले में कांग्रेस नेता सज्जन कुमार बरी, 3 लोगों की हत्या का आरोप था

1984 में हुए सिख दंगों से जुड़े दिल्ली के सुल्तानपुरी में 3 लोगों की हत्या मामले में कांग्रेस के पूर्व सांसद सज्जन कुमार को राउज एवेन्यू कोर्ट ने बरी कर दिया है। सुल्तानपुरी इलाके में 1984 के सिख दंगों के दौरान 3 लोगों की हत्या हुई थी। सुल्तानपुरी दंगे में CBI की एक अहम गवाह चाम कौर ने आरोप लगाया था कि भीड़ को भड़का का काम सज्जन कुमार रहे थे।

जुलाई 2010 में कड़कड़डूमा कोर्ट ने सज्जन कुमार , ब्रह्मानंद, पेरु, कुशल सिंह और वेद प्रकाश के खिलाफ 3 लोगों की हत्या के मामले में आरोप तय किया था। अब लगभग 13 साल बाद कोर्ट ने सज्जन कुमार सहित अन्य आरोपियों को इस मामले में बरी कर दिया है।

एक अन्य मामले में कोर्ट ने सज्जन के खिलाफ दर्ज था।

सिख दंगों से जुड़े जनकपुरी और विकासपुरी में सिखों की हत्या के मामले में राउज एवेन्यू कोर्ट ने सज्जन कुमार के खिलाफ आरोप तय किए थे। हालांकि अदालत ने सज्जन कुमार के खिलाफ लगाई गई हत्या की धारा 302 हटा दी थी।

सज्जन कुमार आजीवन कारावास की सजा काट रहे थे

दिल्ली हाईकोर्ट ने 17 दिसंबर 2018 को सज्जन कुमार को उम्रकैद की सजा सुनाई थी। दरअसल, 1984 के सिख विरोधी दंगों के बाद दिल्ली में पांच सिखों की हत्या और गुरुद्वारा जला दिया गया था। इसी केस में सज्जन कुमार को दोषी पाया गया और उन्हें सजा सुनाई गई।

सिख विरोधी दंगा क्या है

सिख विरोधी दंगा 1984 में तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की हत्या के बाद भड़का था। इंदिरा गांधी ने पंजाब में सिख आतंकवाद को दबाने के लिए सिखों के पवित्र धार्मिक स्थल स्वर्णमंदिर परिसर में ऑपरेशन ब्लूस्टार चलवाया था जिसमें आतंकी भिंडरावाला सहित कई लोगों की मौत हो गई थी। सिख इस घटना से नाराज थे।

इसके कुछ दिन बाद ही इंदिरा गांधी की उनके ही सिख अंगरक्षकों ने गोली मार कर हत्या कर दी थी। इसके बाद से ही देशभर में सिख विरोधी दंगे शुरू हुए हो गए जिसका सबसे ज्यादा असर दिल्ली और पंजाब में देखा गया था। दंगों के दौरान करीब साढे तीन हजार लोगों की मौत हुई थी।

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